Sparsh Vyanjan Kise Kahate Hain – जब उच्चारण के आधार पर हिंदी व्यंजनों का वर्गीकरण किया जाता है तो हिंदी व्यंजन निम्नलिखित आठ प्रकार के होते हैं – स्पर्श व्यंजन, संघर्षी व्यंजन, स्पर्श संघर्षी व्यंजन, नासिक्य व्यंजन, पार्श्विक व्यंजन, प्रकम्पित व्यंजन, उत्क्षिप्त व्यंजन और संघर्षहीन व्यंजन।
इन आठ प्रकारों में से एक प्रकार है स्पर्श व्यंजन, जिसके बारे में आज हम आपको इस लेख में विस्तार से बताएंगे।
अगर आप जानना चाहते है की स्पर्श व्यंजन किसे कहते हैं, स्पर्श व्यंजन के प्रकार और स्पर्श व्यंजन की संख्या कितनी है? तो इस को लेख पूरा जरूर पढ़ें। तो आइये जानते है –
स्पर्श व्यंजन किसे कहते हैं (Sparsh Vyanjan Kise Kahate Hain Hindi Mein)
वे अक्षर जिनका उच्चारण करते या बोलते समय जीभ का किसी ना किसी अंग से स्पर्श हो, स्पर्श व्यंजन कहलाते हैं। स्पर्श व्यंजन को वर्गीय व्यंजन के नाम से भी जानते हैं। स्पर्श व्यंजन को पांच 5 वर्गो (क-वर्ग, च वर्ग, ट-वर्ग, त-वर्ग और प-वर्ग) में विभाजित किया गया है।
स्पर्श व्यंजन की संख्या कितनी है (Sparsh Vyanjan Ki Sankhya Kitni Hoti Hai)
स्पर्श व्यंजन की संख्या 25 होती है। हिन्दी वर्णमाला के पहले पच्चीस व्यंजन क से म तक के व्यंजन स्पर्श व्यंजन कहलाते है। 25 स्पर्श व्यंजन है – क ख ग घ ङ, च छ ज झ ञ, ट ठ ड ढ ण, त थ द ध न, प फ ब भ म।
इन 25 स्पर्श व्यंजन को 5 वर्गो (क-वर्ग, च वर्ग, ट-वर्ग, त-वर्ग और प-वर्ग) में विभाजित यानि बाटा गया है, और प्रत्येक वर्ग में 5 वर्ण होते हैं।
स्पर्श व्यंजन के 5 वर्ग और उनके वर्ण
क-वर्ग (क ख ग घ ङ) – कंठ
च वर्ग (च छ ज झ ञ) – तालु
ट-वर्ग (ट ठ ड ढ ण) – मूर्धा
त-वर्ग (त थ द ध) – दांत
प-वर्ग (प फ ब भ म) – होठ
1) क-वर्ग (क ख ग घ ङ) – कंठ
इस वर्ग के उच्चारण में कण्ठ का उपयोग किया जाता है, इनके उच्चारण में वायु कण्ठ से होकर बाहर की और निकलती है।
2) च वर्ग (च छ ज झ ञ) – तालु
इस वर्ग के उच्चारण में तालु का प्रयोग होता है, च वर्ग के उच्चारण में जीभ (जिह्वा) का अगला भाग कठोर तालु को स्पर्श करता है।
3) ट-वर्ग (ट ठ ड ढ ण) – मूर्धा
इस वर्ग के उच्चारण में मूर्धा का इस्तेमाल होता है, कठोर तालु के मध्य भाग को मूर्धा कहते हैं। ट-श्रेणी के उच्चारण में जीभ (जिह्वा) की उल्टी हुई नोंक का निचला हिस्सा (भाग) मूर्धा से स्पर्श करता है।
4) त-वर्ग (त थ द ध) – दांत
दांतों का प्रयोग इस वर्ग के उच्चारण में किया जाता है, इस वर्ग में जीभ (जिह्वा) की नोक ऊपर के दांतों को स्पर्श करती है।
5) प-वर्ग (प फ ब भ म) – होठ
होठों का प्रयोग इस वर्ग के उच्चारण में किया जाता है, दरअसल प-वर्ग के वर्णों का उच्चारण करते वक्त दोनों होठों द्वारा श्वास का अवरोध होता है।
FAQs
स्पर्श व्यंजन किसे कहते हैं कितने होते हैं?
वे अक्षर जिनका उच्चारण करते या बोलते समय जीभ का किसी ना किसी अंग से स्पर्श हो, स्पर्श व्यंजन कहलाते हैं। स्पर्श व्यंजन 25 होते है।
25 स्पर्श व्यंजन कौन कौन से हैं?
25 स्पर्श व्यंजन है – क ख ग घ ङ, च छ ज झ ञ, ट ठ ड ढ ण, त थ द ध न, प फ ब भ म।
स्पर्श वर्ण कौन कौन से हैं?
स्पर्श वर्ण है – क ख ग घ ङ, च छ ज झ ञ, ट ठ ड ढ ण, त थ द ध न, प फ ब भ म।
स्पर्श व्यंजन कहाँ से कहाँ तक होते हैं?
क से म तक के वर्ण स्पर्श व्यंजन होते हैं।
स्पर्श व्यंजन वर्णों को कितने भागों में बंटा गया है?
स्पर्श व्यंजन वर्णों को 5 भागों में बंटा गया है।
निष्कर्ष (Conclusion)
आज के इस लेख में हमने आपको स्पर्श व्यंजन किसे कहते हैं, और स्पर्श व्यंजन की संख्या कितनी होती है के बारे में जानकारी दी है। हमे उम्मीद है आपको यह लेख अच्छा लगा होगा। अगर आपको यह लेख स्पर्श व्यंजन किसे कहते हैं (Sparsh Vyanjan Kise Kahate Hain) अच्छा लगा है तो इसे अपनों के साथ भी शेयर करे।