Sardar Vallabhbhai Patel Speech In Hindi – सरदार वल्लभभाई पटेल की जयंती 31 अक्टूबर मनाई जाती है। उनके जन्मदिन को पूरे देश में राष्ट्रीय एकता दिवस के रूप में मनाया जाता है महान स्वतंत्रता सेनानी सरदार वल्लभभाई पटेल देश के पहले उपप्रधानमंत्री और पहले गृह मंत्री थे। जब भारत स्वतंत्र हुआ तो देश 550 से अधिक रियासतों में विभाजित था। इनका भारत में विलय कराने में सरदार पटेल की सबसे अहम भूमिका रही।
सरदार पटेल की जयंती पर विभिन्न स्कूलों और कॉलेजों में क्विज़, निबंध और भाषण प्रतियोगिताओं का आयोजन किया जाता है। यह उनके शानदार व्यक्तित्व को उजागर करता है। अगर आप भी सरदार वल्लभ भाई पर किसी भाषण या निबंध प्रतियोगिता में हिस्सा ले रहे हैं तो नीचे दिए गए भाषण से उदाहरण ले सकते हैं।
सरदार वल्लभ भाई पटेल पर भाषण (Sardar Vallabhbhai Patel Speech In Hindi)
आदरणीय प्रिंसिपल सर, अध्यापकों, एवं मेरे प्यारे मित्रों —
लौह पुरुष, सरदार वल्लभभाई पटेल का जन्म 31 अक्टूबर 1875 को नडियाद, गुजरात में हुआ था। सरदार पटेल का जन्म एक किसान परिवार में हुआ था। वह अपने पिता झावेरभाई पटेल और माता लाडबाई जी की चौथी संतान थे।
महात्मा गांधी के विचारों से प्रेरित होकर उन्होंने भारत के स्वतंत्रता आंदोलन में भाग लिया। स्वतंत्रता आंदोलन में सरदार पटेल का पहला और बड़ा योगदान 1918 में खेड़ा संघर्ष में था। 1928 में हुए बारडोली सत्याग्रह में उन्होंने किसान आंदोलन का भी सफलतापूर्वक नेतृत्व किया। बारडोली सत्याग्रह आंदोलन की सफलता के बाद वहां की महिलाओं ने उन्हें वल्लभभाई पटेल को सरदार की उपाधि। 1942 में भारत छोड़ो आंदोलन के दौरान उन्हें तीन साल की कैद हुई।
महात्मा गांधी ने सरदार पटेल को लौह पुरुष की उपाधि दी थी। सरदार पटेल का दृष्टिकोण था कि भारतीय प्रशासनिक सेवाएँ देश को एकजुट रखने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएंगी। उन्होंने भारतीय प्रशासनिक सेवाओं की मजबूती पर बहुत जोर दिया।
जब भारत आजाद हुआ तो हमारा देश 550 से भी ज्यादा छोटी-बड़ी रियासतों में बंटा हुआ था। उन्हें भारत में एकीकृत करना बहुत महत्वपूर्ण था, जो एक चुनौतीपूर्ण कार्य था। कई रियासतें भारत में शामिल होने के बजाय खुद को अलग और स्वतंत्र रखना चाहती थीं। सरदार पटेल भारत के पहले उपप्रधानमंत्री और पहले गृह मंत्री थे। उन्होंने देश के एकीकरण में बहुत महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। यही कारण है कि उन्हें राष्ट्रीय एकता का प्रणेता माना जाता है।
सरदार पटेल अपने उत्कृष्ट नेतृत्व और प्रशासनिक क्षमताओं के लिए भी जाने जाते थे। पूरे देश को एकजुट करने वाले सरदार पटेल को भारत का बिस्मार्क भी कहा जाता है। आजादी के बाद देशी रियासतों का एकीकरण कर अखंड भारत के निर्माण में उनके योगदान को भुलाया नहीं जा सकता।
उन्होंने सभी रियासतों के राजाओं को स्पष्ट कर दिया था कि उनका अलग राज्य का सपना असंभव है और उनके लिए भारतीय गणराज्य का हिस्सा बनना ही बेहतर है। उन्होंने अपनी बुद्धिमत्ता और राजनीतिक दूरदर्शिता से छोटी-छोटी रियासतों को संगठित किया। भारत के भौगोलिक एकीकरण में उनकी सबसे महत्वपूर्ण भूमिका के कारण उनकी जयंती को देश में राष्ट्रीय एकता दिवस के रूप में मनाया जाता है।
किसी भी देश की नींव उसकी एकता और अखंडता में निहित होती है और सरदार पटेल देश की एकता के वास्तुकार थे। सरदार पटेल जी का निधन15 दिसंबर 1950 को मुंबई में हुआ । 1991 में सरदार पटेल को मरणोपरांत ‘भारत रत्न’ से सम्मानित किया गया।
धन्यवाद, जय हिंद, जय भारत
वल्लभभाई पटेल पर छोटा भाषण (Short Speech On Vallabhbhai Patel In Hindi)
सरदार पटेल जयंती ने भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के इतिहास में अहम भूमिका निभाई। सरदार वल्लभ भाई पटेल जी को ‘लौह पुरुष’ के नाम से जाना जाता है क्योंकि उन्होंने भारत को एक सूत्र में पिरोने का महान कार्य किया था। उन्होंने सैकड़ों रियासतों को एक साथ लाने की प्रक्रिया पूरी की और भारतीय संघ की नींव रखी। स्वतंत्रता संग्राम के दौरान सरदार पटेल ने महात्मा गांधी के साथ मिलकर जनसंघटन को संगठित किया और भारतीय स्वतंत्रता संग्राम को मजबूत किया। उन्होंने हमारे देश की एकता और अखंडता के लिए अपने जीवन की सम्पूर्ण शक्ति लगा दी। आज हमें सरदार पटेल जी के महान कार्यों को याद करना चाहिए और उनके आदर्शों पर चलना चाहिए। उनका संघर्ष और समर्पण हमें एकजुट होने का संदेश देता है, चाहे हम किसी भी क्षेत्र में हों, हमें अपने देश के लिए एकजुट होने का संकल्प लेना चाहिए।
निष्कर्ष (Conclusion)
आज के इस लेख में हमने आपको सरदार वल्लभ भाई पटेल पर भाषण – Speech On Sardar Vallabhbhai Patel In Hindi के बारे में जानकारी दी है। हमे उम्मीद है आपको यह लेख अच्छा लगा होगा। अगर आपको यह लेख सरदार वल्लभ भाई पटेल पर भाषण (Speech Of Sardar Vallabhbhai Patel In Hindi) अच्छा लगा है तो इसे अपनों के साथ भी शेयर करे।