Hindi Sandhi In Hindi Language – आज के इस लेख में हम आपको संधि किसे कहते हैं, संधि की परिभाषा, संधि के प्रकार और संधि के उदाहरण आदि के बारे में जानकारी देने वाले है। अगर आप उपरोक्त जानकारी प्राप्त करना चाहते है तो आज के इस लेख हिंदी संधि इन हिंदी (Hindi Sandhi In Hindi) के अंत तक बने रहे। तो आइये जानते है –
संधि किसे कहते हैं हिंदी में (Sandhi Kise Kahate Hain Hindi Mein)
संधि शब्द सम्+धि से बना है, जिसका शाब्दिक अर्थ है मेल या जोड़। संधि शब्द का विपरीतार्थक शब्द है – विग्रह या विच्छेद ।
दो या दो से अधिक वर्णों के पास-पास आने से जो विकार उत्पन्न होता है उसे संधि कहते हैं।
संधि की परिभाषा हिंदी में (Sandhi Ki Paribhasha In Hindi)
संधि की परिभाषा – दो निकटवर्ती वर्णों के मेल से जो परिवर्तन होता है उसे संधि कहते हैं।
संस्कृत, हिन्दी तथा अन्य भाषाओं में स्वरों अथवा वर्णों के संयोग से उत्पन्न विकार को संधि कहते हैं। जैसे – सम् + तोष = संतुष्टि; देव + इंद्र = देवेन्द्र; भानु + उदय = भानुदय।
संधि के उदाहरण (Sandhi Ke Udaharan Hindi Mein)
देव + इंद्र = देवेन्द्र
देव + ऋषि = देवर्षि
भानु + उदय = भानुदय
परम + ईश्वर = परमेश्वर
ज्ञान + उदय = ज्ञानोदय
स + अवधान = सावधान
वधू + आगमन = वध्वागमन
आत्मा + आनंद = आत्मानंद
कृपा + आकांक्षी = कृपाकांक्षी
चिकित्सा + आलय = चिकित्सालय
संधि के प्रकार / संधि के भेद (Sandhi Ke Prakar Ya Sandhi Ke Bhed)
मुख्यत: संधि के तीन प्रकार होते है, जो इस प्रकार है –
- स्वर सन्धि
- व्यंजन संधि
- विसर्ग संधि
1) स्वर संधि (Swar Sandhi)
स्वरों के साथ स्वर के संयोग से होने वाले विकार को स्वर संधि कहते हैं। हिंदी में अ, आ, इ, ई, उ, ऊ, ऋ, ए, ऐ, ओ, औ नाम से कुल ग्यारह स्वर हैं। स्वर संधि के उदाहरण है = भाव + अर्थ = भावार्थ। स्वर संधि के पाँच प्रकार है – दीर्घ संधि, गुण संधि, यण संधि, वृद्धि संधि और अयादि संधि।
2) व्यंजन संधि (Vyanjan Sandhi)
किसी व्यंजन वर्ण के साथ स्वर वर्ण या व्यंजन वर्ण के संयोग से उत्पन्न होने वाले विकार को व्यंजन संधि कहते हैं। व्यंजन संधि के उदाहरण है – सदाचार = सत् + आचार, अलंकार = अलम् + कार आदि।
3) विसर्ग संधि (Visarg Sandhi)
विसर्ग के साथ स्वर या व्यंजन के संयोग ( योग या मेल) से जो विकार उत्पन्न होता है उसे विसर्ग संधि कहते हैं। विसर्ग संधि में विसर्ग का मिलान वर्ण से होता है। विसर्ग संधि में विसर्ग से पहले सदैव स्वर होता है, स्वर रहित व्यंजन नहीं।
FAQs
संधि किसे कहते हैं कितने प्रकार की होती है हिंदी में?
दो निकटवर्ती वर्णों के मेल से जो परिवर्तन होता है उसे संधि कहते हैं। संस्कृत, हिन्दी तथा अन्य भाषाओं में स्वरों अथवा वर्णों के संयोग से उत्पन्न विकार को संधि कहते हैं। संधि तीन प्रकार की होती है – स्वर सन्धि, व्यंजन संधि और विसर्ग संधि।
संधि क्या है?
दो या दो से अधिक वर्णों के पास-पास आने से जो विकार उत्पन्न होता है उसे संधि कहते हैं।
संधि शब्द का अर्थ क्या है?
संधि शब्द सम्+धि से बना है, जिसका शाब्दिक अर्थ है मेल या जोड़। संधि शब्द का विपरीतार्थक शब्द है – विग्रह या विच्छेद ।
संधि शब्द का विलोम शब्द क्या है?
संधि शब्द का विलोम शब्द – विग्रह या विच्छेद है।
संधि के उदाहरण क्या है?
संधि के उदाहरण है – देव + इंद्र = देवेन्द्र, देव + ऋषि = देवर्षि, भानु + उदय = भानुदय, और परम + ईश्वर = परमेश्वर आदि।
संधि के 3 प्रकार क्या हैं?
संधि के 3 प्रकार है – स्वर सन्धि, व्यंजन संधि और विसर्ग संधि।
स्वर संधि क्या है?
स्वरों के साथ स्वर के संयोग से होने वाले विकार को स्वर संधि कहते हैं।
व्यंजन संधि क्या है?
किसी व्यंजन वर्ण के साथ स्वर वर्ण या व्यंजन वर्ण के संयोग से उत्पन्न होने वाले विकार को व्यंजन संधि कहते हैं।
विसर्ग संधि क्या है?
विसर्ग के साथ स्वर या व्यंजन के संयोग ( योग या मेल) से जो विकार उत्पन्न होता है उसे विसर्ग संधि कहते हैं।
निष्कर्ष (Conclusion)
आज के इस लेख में हमने आपको संधि किसे कहते हैं, संधि की परिभाषा, संधि के प्रकार और संधि के उदाहरण (Hindi Sandhi In Hindi Language) के बारे में जानकारी दी है। हमे उम्मीद है आपको यह लेख अच्छा लगा होगा। अगर आपको यह लेख संधि किसे कहते हैं संधि के प्रकार (Sandhi Kise Kahate Hain Sandhi Ke Prakar) अच्छा लगा है तो इसे अपनों के साथ भी शेयर करे।