कुत्तों के इन गुणों को अपनाकर आप भी बन सकते हैं कामयाब

आचार्य चाणक्य कहते हैं कि कुत्ता रोटी देनेवाले अपने मालिक के प्रति बहुत ज़्यादा वफादार होता है। उसकी भलाई के लिए कुत्ता अपनी जान की बाजी तक लगा देता है। 

वह अपने जीवन को मालिक के अनुसार ही ढाल लेता है ठीक इसी प्रकार इंसान को अपने जीवन में बन जाना चाहिए। उसे अपने काम के प्रति वफादार होना चाहिए।

जो इंसान अपने काम को पूजा मानता है आगे चलकर वह एक कामयाब इंसान बनता है। आपका काम ही आपको प्रसिद्धि दिलाएगा और दुश्मन का जीना हराम करेगा।

कुत्ता दुनिया का सबसे सजग और चौकन्ना रहने वाला जीव है। वह भी गहरी नींद में सोता है लेकिन जरा सी आहट होते ही तुरंत चौकन्ना हो जाता है।

इसी तरह इंसान को भी हर पल-हल हाल में सजग रहना चाहिए। उसे भरोसा हर किसी पर करना चाहिए लेकिन सजग और सावधान होकर।

अगर आप अपने अंदर ये गुण लाते हैं, तो इससे आप पर कभी कोई मुसीबत नहीं आ सकती।

कुत्ता एक बहुत बहादुरी प्राणी है। अकेले होने पर भी वह, संकट से घबराता नहीं है, बल्कि उसका सामना करता है। ठीक इसी तरह इंसानों को भी हर हाल में बड़े से बड़े संकट का सामना करने आना चाहिए।

मुश्किल परिस्थितियों का सामना करने से ही इंसान अंदर से मजबूत बनता है। हम सबको भी किसी परेशानी से घबराना नहीं चाहिए और हर हाल में डटकर उसका सामना करना चाहिए।

चाणक्य नीति के अनुसार कुत्ता संतोषी प्रवृत्ति का जीव होता है। उसे मालिक की ओर से दिन-भर में जितना भी भोजन-पानी दे दिया जाए, वह उसमे ही संतुष्ट रहता है।

इसी तरह इंसान को अपनी आवश्यकताओं और ज़रूरतों के प्रति संतोष करना चाहिए। जरूरत से ज्यादा चीजों का संग्रह करने की आदत इंसान को मानसिक तनाव से भर देती है। और आप अंदर से कमजोर हो जाते हैं। जिसका लोग गलत फायदा उठाते हैं।